आईएसएसएन: 2150-3508
Palas Samanta, Sandipan Pal, Aloke Kumar Mukherjee, Debraj Kole and Apurba Ratan Ghosh
वर्तमान अध्ययन का उद्देश्य प्रयोगशाला और क्षेत्र दोनों स्थितियों में अल्मिक्स® एक्सपोजर के बाद भारतीय मीठे पानी के टेलोस्ट, अनाबास टेस्टुडीनस (ब्लोच, 1792) के पेट और आंत में हिस्टोपैथोलॉजिकल परिवर्तनों की जांच करना था । क्षेत्र ( खुराक 8 ग्राम/एकड़) और प्रयोगशाला (खुराक 66.67 मिलीग्राम/ली) प्रयोग 30 दिनों के लिए किए गए थे। क्षेत्र प्रयोग के लिए तालाब में विशेष प्रकार का पिंजरा तैयार किया गया और स्थापित किया गया। संबंधित मछली के अंगों अर्थात् पेट और आंत में पैथोलॉजिकल परिवर्तनों का मूल्यांकन प्रकाश माइक्रोस्कोपी, स्कैनिंग और ट्रांसमिशन इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोपी के माध्यम से किया गया। प्रकाश माइक्रोस्कोपी के तहत देखे गए घावों ने प्रयोगशाला और क्षेत्र दोनों स्थितियों के तहत अल्ट्रास्ट्रक्चरल अवलोकनों के निष्कर्षों की भी पुष्टि की। प्रकाश और इलेक्ट्रॉन माइक्रोस्कोपी के तहत देखे गए साइटोपैथोलॉजिकल परिवर्तनों से पता चला कि विभिन्न मछली के ऊतकों के साथ-साथ स्थितियों में प्रतिक्रियाओं की डिग्री अलग-अलग थी, यहाँ विशेष रूप से पेट में प्रभाव प्रयोगशाला की स्थिति में अधिक प्रमुख थे। प्रयोगशाला की स्थिति के तहत मछली के ऊतकों में दर्ज की गई समग्र प्रतिक्रियाएँ क्षेत्र की स्थिति की तुलना में अधिक स्पष्ट थीं। इसलिए, वर्तमान अध्ययन में अल्मिक्स विषाक्तता के कारण इन लक्षणों और/या परिवर्तनों को जलीय पारिस्थितिकी तंत्र में विषाक्तता अध्ययन में बायोमार्कर के रूप में माना जा सकता है।